समाचार चक्र संवाददाता
पाकुड़-एमडीए कार्यक्रम के तहत फरवरी 2023 में फलेरिया रोधी दवा खिलाने के कार्यक्रम में शामिल सहियाओं के प्रोत्साहन राशि वितरण व सहियाओं से अवैध राशि उगाही मामले में मिली शिकायत पर उपायुक्त द्वारा सहायक समाहर्ता डॉक्टर कृष्णकांत कनवाड़िया(भा0प्र0से0) की अध्यक्षता में असैनिक शल्य चिकित्सक सह मुख्य चिकित्सा पदाधिकारी का संयुक्त जांच दल गठित कर मामले की जांच करायी गई। जांच के क्रम में मामला सही पाया गया। जांच में पाया गया कि ऐसी अनियमितता पाकुड़ सदर,हिरणपुर एवं लिट्टीपाड़ा में बड़े पैमाने पर की गई है।जांच दाल द्वारा प्रभारी चिकित्सा पदाधिारी एवं सभी पर्यवेक्षकों से पूछताछ की गई। पूछताछ के क्रम में बीटीटी अंगद पांडेय द्वारा स्वीकार किया गया कि उनके द्वारा 20 सहियाओं से प्रोत्साहन राशि भुगतान के एवज में प्रत्येक से 1500 रूपये कर अवैध वसूली गई है। ऐसा ही कार्य पर्यवेक्षक मोहम्मद हफीजुर रहमान द्वारा भी किए जाने की बात सामने आयी है। वहीं जांच के क्रम में यह भी बात सामने आयी है कि प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारियों द्वारा भी नियम विरूद्ध कार्य करते हुए सहियाओं के खाते में राशि उपलब्ध कराने के बजाय पर्यवेक्षकों को राशि उपलब्ध कराया गया है। जांच के दौरान प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारियों ने अपनी गलती भी स्वीकार किया है। जांच रिपोर्ट मिलने के बाद उपायुक्त ने मामले को गंभीरता से लेते हुए एक सप्ताह के अंदर प्रोत्साहन राशि अविलंब सहियाओं के बैंक खाते में भुगतान करने व वसूली गई राशि को संबंधित पर्यवेक्षकों से संबंधित सहियाओं के बैंक खाते में वापस कराने का निर्देश सीएस को दिया है।वहीं उपायुक्त द्वारा अवैध वसूली पर कड़ी कार्रवाई करते हुए राशि वसूली में संलिप्त पर्यवेक्षकों को कार्यमुक्त करने के लिए कार्रवाई का भी निर्देश सीएस को दिया गया है।वहीं उपायुक्त ने कहा कि प्रोत्साहन राशि का भुगतान एवं वसूली की गई राशि की वापसी एक सप्ताह के अंदर नहीं करने वाले पर्यवेक्षकों के विरूद्ध प्राथमिकी दर्ज करायी जाएगी। उपायुक्त ने कहा कि किसी भी हाल में नियम विरूद्ध कार्य बर्दाश्त नहीं की जाएगी। अधिकारी हो या फिर कर्मी शिकायत मिलने पर उनकी जांच होगी। जांच सही पाए जाने पर हर हाल में कार्रवाई होगी।